रांची से बस एक छलांग दूर - झारखंड के जंगलों में छिपा दसम फॉल्स

 दसम फॉल्स: पानी, पहाड़ और परफेक्ट इंस्टा शॉट्स का मज़ेदार मिक्स!

झारखंड का नाम लेते ही जंगल, पहाड़ और झरने की खूबसूरती हमारी आंखों के सामने उभर आती है। इन प्राकृतिक अनुभवों में से एक खास नाम है – दसम फॉल्स। जब आप रांची में हों और सिर्फ एक दिन का समय हो, तो दसम फॉल्स प्लान करना एक दमदार फैसला है। शहर से ये ज्यादा दूर भी नहीं है, तो आपका ज़्यादा समय धूल भरी सड़कों पर ख़राब नहीं होगा। रांची मेन टाउन से बस 44 किलोमीटर की दूरी पर ही यह झरना आपको प्रकृति की बाँहों में ले जाएगा। आधे घंटे में आप शहर से बहार आजाएंगे।  फिर इसके बाद के सफर में भी आपको मज़ा आएगा। तो अगर आप ज़्यादा दूर भी नहीं जाना चाहते हैं और छुट्टी का कुछ वक़्त वादियों में पानी को पत्थरों पे से फिसलते हुए देखने का अनुभव लेना चाहते हैं, तो दसम फॉल्स आपके लिए एक परफेक्ट स्पॉट है।

जंगलों के बीच एक छिपा हुआ खज़ाना

दसम फॉल्स झारखंड के रांची जिले के बुण्डू उपखंड में स्थित तैमारा गांव के पास है। यहाँ पहुंचने का रास्ता थोड़ा घुमावदार और रोमांच से भरा है, लेकिन जब आप इस अद्भुत झरने के पास पहुँचते हैं, तो हर मोड़ का सफर एक यादगार अनुभव बन जाता है। गूगल मैप्स आपके सफर को आसान बना देगा, लेकिन ध्यान रहे कि नेटवर्क की दिक्कत हो सकती है, इसलिए अपने दोस्तों से भी रास्ता पूछते रहिए!

दो रास्तों से यहां पहुंचा जा सकता है। दोनों रस्ते आपको फाल्स की दो दिशाओं में लेकर जाएंगे। दोनों तरफ के नज़रों में भी फर्क है। बायीं तरफ वाला रास्ता आपको दसम फाल्स को एकदम सामने से देखने का मौका देगा। जिसका पूरा ज़िक्र नीचे किया है। और दायीं तरफ से आप फाल्स के साइड एंगल और ऊपरी साथ- जहँ से झरना गिरता है, देख पाएंगे। टूरिस्ट दोनों ही तरफ से जाते हैं। पर नज़ार लाज़मी है अलग होंगे। 

क्या खास है दसम फॉल्स में?  

प्रवेश द्वार से अंदर आकर, कुछ सीढ़ियां उतरनी है। नीचे उतरते जाने में कुछ कुछ जगहों पे व्यू पॉइंट बने हैं जहां से फोटोग्राफी के अच्छे विकल्प बनते हैं। पर जब झरने को पूरी 144 फ़ीट की ऊंचाई से गिरते देखने को मिले तो क्या बात है! एकदम नीचे उतरने के बाद चट्टानों पे बैठा जा सकता है। कोई फिसलन नहीं है। और यहाँ से दर्शक दीर्घा में बैठकर झरने की परफॉरमेंस देखना अद्भुत अनुभव है। पत्थर पे तेज़ बरसते पानी से सुंदर फुहारें बनती है और हवा के साथ आपको छूती हैं। इसमें भीगना सुकून देने वाला अहसास है। अगर आप खुश-किस्मत हैं तो बादलों के मौसम में यहां बेहतरीन अनुभव होगा। धुप झरनों के पास ज़्यादा देर बैठने नहीं देती है। 

दसम फॉल्स के आगोश में खो जाइए

ऊंचे चट्टान के नीचे से बहता झरने का ठंडा पानी और वही किनारे पर बैठे आप। इतने नीचे से जंगलों को निहारना थके मन को राहत की गलियों में घुमा लाता है। यह एक अच्छा एकांत है। बहुत भीड़ नहीं रहती है इसलिए मन जल्दी ऊबता नहीं। हो सके तो छुट्टी वीक डेज में लीजिये, तब तो लोग ही नहीं होते सुबह -सुबह। लगेगा की जैसे अपने दसम फाल्स अपने लिए ख़ास बुक किया हो। 

बंदरों से ज़रा सावधान रहना होगा। ये अपनी टोली में घुमते रहते हैं। अगर कुछ खाने का लाये हैं तो थोड़ा ध्यान से रहिएगा। ये आपका बैग लेकर जुंग में आगे रफूचक्कर भी हो सकते हैं। वैसे इनकी टोली बनी नहीं रहती। डरने वाली कोई बात नहीं है।   

बारिश हुई तो आपका यहां से जाने का मन नहीं करेगा। लगता है जैसे कोई सिनेमा का सेट हो। मद्धिम रौशनी में नज़ारा कमाल लगता है। 

आखिर कब जाना है दसम फॉल्स?

अब बात करते हैं दसम फॉल्स जाने के सबसे बढ़िया समय की। वैसे तो आप साल के किसी भी समय यहाँ आ सकते हैं, लेकिन अगर आप इस जगह की असली खूबसूरती देखना चाहते हैं, तो मॉनसून के बाद का समय यानी जुलाई से दिसंबर सबसे बेहतरीन है। इस दौरान झरने का जलस्तर बढ़ जाता है, और वह अपने पूरे शबाब पर होता है। हालाँकि मॉनसून में थोड़ा संभलकर चलिए, फिसलन भरी जगहों पर फिसलना मत! 

आसपास घूमने वाली जगहें

अगर आप दसम फॉल्स तक ही सीमित नहीं रहना चाहते और कुछ और खूबसूरत जगहें भी देखना - करना चाहते हैं, तो आपके पास कई ऑप्शन्स हैं। जैसे कि: हिरनी फॉल्स, जोनहा फॉल्स, सीता फाल्स, हुंडरू फॉल्स आदि। दसम फॉल्स के पास ही स्थित यह फॉल्स भी अपने आप में एक बेहद आकर्षक स्थल है। पर ये कितना पास है यह जान लें। यह बस 70km पास है। जी हाँ, आपको जगह जगह JDTC के भूरे बोर्ड्स पे ऐसा लिखा मिलेगा। पर यह सारे फॉल्स एक ही दिन में नहीं किये जा सकते। अगर टिक मार्क जर्नी नहीं करनी तो इन सबके लिए आपको पूरा पूरा दिन चाहिए। अगर आप झरनों से थोड़ा ब्रेक लेकर शांत पानी के नज़ारे का आनंद लेना चाहते हैं, तो रांची झील बढ़िया ऑप्शन है।

दसम फाल्स क्यूंकि जंगलों में बना होने से आप वहां और भीतर जाकर जंगल में बने गावों को घूम सकते हैं। सब  भोला है। इसके पास में रीमिक्स फाल्स है। यह भी सुंदर अनुभव देने में काबिल है। यहाँ आपको बीच, पहाड़ और झरना तीनो का आनंद एक ही जगह में मिल जाएगा। बस थोड़ा रफ़ रास्ता पार करना होगा जो की कोई मुश्किल नहीं है। इसी बहाने प्रकृति से थोड़ी बातें करीब से हो जाएंगी।  

यहाँ तक अभी शहरीकरण नहीं पहुंचने की वजह से इसकी सुंदरता में खास कोई कमी नहीं आयी है।, जैसा की अमूमन हिमाचल या उत्तराखंड के जंगलों में देखने मिलता है। घनी वादियों से निकलती अच्छी सड़कों पर आप अपना पसंदीदा गाना लगा के कुछ देर के लिए सुकून जी सकते हैं। 

मेरी सलाह है की खाना घर से लेकर चलिए या होटल से पैक करा लीजिये। बस फिर किसी रास्ते पर जहाँ मन आ जाये वहां  चादर बिछाइये, अपना डिब्बा खोलिये और मज़े लीजिये जंगल तफरी की। यह अनुभव आपको कुछ यादगार लम्हे ज़रूर दे जाएगा। 

कैसे पहुंचे दसम फॉल्स?

रांची से दसम फॉल्स की दूरी लगभग 40 किलोमीटर है, और यहाँ पहुंचने के लिए आपको एक छोटा रोड ट्रिप करना पड़ेगा। आप चाहें तो अपनी कार से आ सकते हैं या फिर लोकल बस या कैब का इस्तेमाल कर सकते हैं। सफर के दौरान पहाड़ी रास्तों और जंगलों के नज़ारे आपका मन मोह लेंगे। रास्ते में रुककर सेल्फी लेना मत भूलिएगा, क्योंकि ये रास्ते भी इंस्टा-वर्दी तस्वीरों से कम नहीं हैं!

इंस्टा-वर्दी तस्वीरें: कहाँ क्लिक करें?

अगर आप इंस्टाग्राम पर अपनी यात्रा की यादों को शेयर करने के शौकीन हैं, तो रांची में दसम फॉल्स आपको मदद करेगा। यहाँ हर कोना ऐसा है जो आपकी तस्वीरों को और भी खास बना देगा। नीचे दिए गए बिंदुओं को याद रखें:

  1. झरने के किनारे: जहां पानी का प्रबल प्रवाह होता है, वहाँ तस्वीर लेना जरूर बनता है। लेकिन ध्यान रहे कि अधिक नज़दीक जाने की कोशिश न करें। झरना इतना चौड़ाई में है की कितनी भी भीड़ हो पर आपको क्लिक करने के लिए जगह मिल ही जाएगी। 
  2. चट्टानों पर बैठकर: ये चट्टानें आपके 'फिल्मी पोर्ट्रेट' के लिए बेस्ट हैं। ध्यान से नीचे उतरकर थोड़ा जंगल के भीतरी हिस्से को देखंगे तो फोटो लिए बिना नहीं रह पाएंगे। ये नज़ारे आपको किसी पेंटिंग की  दिलाएंगे जो अपने किसी बड़े होटल के वेटिंग रूम में देखीं हों। 
  3. जंगल के बीच ट्रेल पर: रास्ते में चलते हुए भी आप कई खूबसूरत लोकेशन्स पाएंगे। जंगल का घना हरियाली आपको तस्वीरों में एक अलग ही नज़ारा देगी। तैमारा गांव ही बेहद भोला, कच्चा और शायद इसलिए खूबसूरत भी है। इसका कच्चापन आपको रोक लेगा इसे तस्वीरों में बंद करके अपने साथ ले जाने के लिए।   

दसम फॉल्स का रोमांच और थोड़ी सावधानी 

हालांकि दसम फॉल्स प्रकृति प्रेमियों के लिए बढ़िया जगह है, लेकिन यहाँ सुरक्षा का ध्यान रखना भी उतना ही जरूरी है। बारिश में पानी का बहाव बहुत तेज़ होता है, इसलिए झरने के बहुत पास जाना खतरनाक हो सकता है। यहाँ पर प्रशासन की ओर से चेतावनी बोर्ड भी लगे हुए हैं, जिन्हें नज़रअंदाज़ करना आपकी यात्रा का मज़ा बिगाड़ सकता है। तो बस थोड़ा ध्यान रखना है और कोई बात नहीं। बल्कि मैं तो ये कहूँगी की झरना सबसे ज़्यादा खूबसूरत भी इसी मौसम में लगता है इसलिए इस समय ज़रूर आएं। बस शर्त इतनी सी है की झरने से थोड़ी उचित दूरी पर रहकर मानसून का पूरा मज़ा लें। कई बार जंगल की असली खूबसूरती उसके जंगलीपन में झलकती है। और पूरा स्वाद भी तभी आता है। 

दसम फॉल्स का एक यादगार अनुभव

दसम फॉल्स केवल एक झरना नहीं, ये तो प्रकृति का वो दिलचस्प अड्डा है जहां आप और पानी दोनों मिलकर मस्ती का झरना बहाते हैं। जैसे ही आप इसके करीब खड़े होते हैं, ठंडी-ठंडी फुहारें आपको ऐसे छूती हैं, जैसे कोई गुदगुदाने वाला प्यार भरा इशारा। और भाई, उस पानी की चुलबुली धारा को महसूस करके, दिल ऐसे धक-धक करता है जैसे बस यही तो असली 'सुकून' है।

अब अगर आप रांची की तरफ सफर प्लान कर रहे हैं, तो भाईसाहब, दसम फॉल्स को भूलना मत! यह जगह आपको सिर्फ रोमांचक नहीं, बल्कि थोड़ा 'ज़्यादा' एक्साइटिंग बना देगी। अब इस मस्ती को अकेले भी जीया जा सकता है अगर आत्मानुभूति करने का शौक रखते हैं तो।  नहीं तो दोस्तों को साथ घसीटो और ग्रुप के साथ यहां का पूरा मज़ा उठाओ, क्योंकि असली 'धमाल' तो वहीं आता है जब हंसी-ठिठोली का झरना भी दसम फॉल्स के साथ बहता है!

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